नए कोरोना-वायरस से जुड़ी भ्रम और सच्चाई
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा COVID-19 कोरोना-वायरस पर दी गयी जानकारी पर आधारित।

posted in: corona-virus | 0

पिछले कुछ दिनो में मैंने सोशल मीडिया ( वहत्सप्प, फ़ेस्बुक, और इन्स्टग्रैम) पर कोरोना वायरस (COVID-19) से जुड़े कई मेसिज और विडीओ देखें, जो कि मेरे भारतीय परिचितों ने मुझे भेजे थे। इनमें प्रस्तुत अधिकतर जानकारी ग़लत, अप्रमाणित, या फिर अधूरी थी, परन्तु उन्हे हर जगह फ़ॉर्वर्ड किया जा रहा हैं। इन सभी से मुझे यह अंदाज़ा हुआ की भारत के लोगों में कोरोना-वायरस से जुड़ी कई भ्रम और ग़लतफ़हमियाँ है। मैंने कई मेसिज के उत्तर में सही जानकारियाँ भेजी, परंतु तब मुझे ज्ञात हुआ की कोरोना से जुड़ी आवश्यक जानकारी ज़्यादातर केवल अंग्रेज़ी में उपलब्ध है। विश्वसनीय श्रोत अधिकतर अंग्रेज़ी में है, और कई भारतीय अंग्रेज़ी उतनी अच्छी नहीं समझ पाते। अतः इस वेश्विक आपदा के समय मेरा यह कोरोना-वायरस से जुड़ी सही जानकारी आसान हिंदी में पहुँचाने का एक छोटा प्रयास है, ताकि इस वायरस–युद्ध में ज़रूरी ऐवं  सही जानकारी भाषा से सीमित ना हो।

नोट: नीचे दी गयी कोरोना वायरस (COVID-19) से जुड़ी यह जानकारियाँ आज तक (२३ मार्च २०२०) की उपलब्ध प्रमाण पर आधारित हैं । यह जानकारी विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के निन्मलिखित वेबपेज से ली गयी हैं: Coronavirus disease (COVID-19) advice for the public: Myth busters

सच्चाई: नया कोरोना-वायरस गर्म और उमस (आर्द्र) वाले क्षेत्रों में भी फ़ेलता है।

अब तक के प्रमाण से, यह नया कोरोना वाइरस गर्म और उमस वाले क्षेत्रों (जैसे भारत) सहित सभी क्षेत्रों में फेल सकता हैं ।जलवायु कैसा भी हो, हमेशा सुरक्षात्मक उपाय अपनाएँ। COVID-19 के खिलाफ खुद को बचाने का सबसे अच्छा तरीका है – अक्सर अपने हाथों को साफ करना। ऐसा करने से आप अपने हाथों पर लगने वाले वायरस (जो आपकी आंखों, मुंह और नाकको छू सकता है) को खत्म कर सकते हैं और संक्रमण से बच सकतेहैं।covid19-corona-info-1

 

सच्चाई: ठंड या बर्फीला मौसम इस नए कोरोना-वायरस को नहीं मार सकते।

यह मानने का कोई कारण नहीं है कि ठंड का मौसम नए कोरोना-वायरस या अन्य बीमारियों को मार सकता है। बाहरी तापमान या मौसम की परवाह किए बिना, सामान्य मानव शरीर का तापमान 36.5°C से 37°C तक रहता है। नए कोरोना-वायरस के खिलाफ खुद को बचाने के लिए सबसे प्रभावी तरीका साबुन और पानी से हाथ धोना या फिर हैंड-सेनिटायजेर से हाथ रगड़ना है।

 

सच्चाई: गर्म पानी में स्नान करने से नए कोरोना-वायरस रोग की रोकथाम नहीं होती है।

गर्म पानी में स्नान करने से आप COVID-19 वायरस संक्रमण को नहीं रोक सकते हैं। आपके स्नान या नहाने के पानी के तापमान की परवाह किए बिना आपके शरीर का सामान्य तापमान लगभग 36.5°C से 37°C तक रहता है। दरअसल, बेहद गर्म पानी से नहाना हानिकारक हो सकता है, क्योंकि यह आपको जला सकता है।

COVID-19 के खिलाफ खुद को बचाने का सबसे अच्छा तरीका है अक्सर अपने हाथों को साफ करना। ऐसा करने से आप अपने हाथों पर लगने वाले वायरस (जो आपकी आंखों, मुंह और नाक को छू सकता है) को खत्म कर सकते हैं और संक्रमण से बच सकते हैं।

 

सच्चाई: नए कोरोनो-वायरस को मच्छर के काटने से संक्रमित नहीं किया जा सकता है।

अभी तक इसका कोई प्रमाण नहीं मिला है कि नए कोरोना-वायरस मच्छर के काटने से फेल सकता है।

नया कोरोना-वायरस मुख्य रूप से संक्रमित व्यक्ति के खांसी या छींक से उत्पन्न बूंदों के माध्यम से फैलता है, या मुँह के लार की बूंदों या नाक के पानी के माध्यम से फ़ेलता हैं। अपने आप को बचाने के लिए, अपने हाथों को बार-बार साबुन और पानी से धोएं  या फिर अल्कोहल-आधारित हैंड-सेनिटायजेर से रगड़कर साफ करें। इसके अलावा, खांसी और छींकने वाले किसी भी व्यक्ति के साथ निकट संपर्क से बचें।

 

प्रश्न: क्या नए कोरोना-वायरस केवल बुढ़े-बुजुर्ग को प्रभावित करता हैं, या युवा लोग भी इससे संक्रमित हो सकते हैं?

नए कोरोना-वायरस (COVID-19) से सभी उम्र के लोग संक्रमित हो सकते हैं। अब तक पाया गया है कि बुढ़े-बुजुर्ग, और वो लोग जिन्हें पहले से कोई बीमारी है या हुई थी (जैसे अस्थमा, मधुमेह, हृदय रोग) को वायरस का संक्रमण गम्भीर रूप से हो सकता हैं। परंतु विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) सभी उम्र के लोगों को सलाह देता है कि वे खुद को इस नए कोरोना-वायरस से बचाने के लिए कदम उठाएं, उदाहरण के लिए अच्छे हाथ की स्वच्छता और साफ़-सफ़ाई का पालन करें।

 

प्रश्न: नए कोरोना-वायरस से संक्रमित लोगों का पता लगाने में थर्मल-स्कैनर कितने प्रभावी हैं?

नोट: थर्मल स्कैनर्स एक  छोटी मशीन है जोकी आजकल हर भीड़ वाली जगह पर सिर पर लगा कर शारीरिक तापमान मापने के लिए उपयोग हो रहा है।

थर्मल स्कैनर्स केवल उन लोगों का पता लगाने में प्रभावी हैं, जिन्हें नए कोरोना-वायरस के संक्रमण के कारण बुखार के लक्षण है (यानी शरीर के सामान्य तापमान से अधिक तापमान है)। हालांकि, थर्मल स्कैनर्स उन लोगों का पता नहीं लगा सकते जो संक्रमित हैं लेकिन अभी तक बुखार से ग्रसित नहीं हुए। ऐसा इसलिए है क्योंकि लोगों में वायरस-संक्रमित के बाद बीमारी और बुखार विकसित होने में 2 से 10 दिन लग सकते हैं।

प्रश्न: क्या पूरे शरीर में स्पिरिट, एथनॉल या क्लोरीन का छिड़काव करने से नए कोरोना-वायरस की नाश हो सकता है?

नहीं। आपके पूरे शरीर में स्पिरिट, एथनॉल, सनिटीजेर या क्लोरीन का छिड़काव करने से उन वायरस का नाश नहीं हो सकता जो आपके शरीर में पहले से ही प्रवेश कर चूके हैं। ऐसे पदार्थों का छिड़काव कपड़े या शारीरिक झिल्लियाँ (यानी आंख, मुंह, नाक) के लिए हानिकारक हो सकता है।

ध्यान रहे कि अल्कोहल, स्पिरिट, एथनॉल  और क्लोरीन, यह सब पदार्थ  विभिन्न सतहों को कीटाणुरहित करने के लिए उपयोगी हो सकते हैं, लेकिन उनका उपयोग सही जानकारी के अनुसार ही और उचित मात्रा में ही करें।

 

प्रश्न: क्या निमोनिया के खिलाफ टीके (वैक्सीन) आपको नए कोरोना-वायरस से बचाते हैं?

नहीं, निमोनिया के खिलाफ टीके (वैक्सीन), जैसे न्यूमोकोकल वैक्सीन और हीमोफिलस इन्फ्लुएंजा टाइप-बी (एचआईबी) वैक्सीन, नए कोरोना-वायरस के खिलाफ सुरक्षा प्रदान नहीं करते हैं।

यह वायरस इतना नया और अलग है कि इसे अपने अलग टीके की जरूरत है। शोधकर्ता COVID -19 (नया कोरोना वाइरस) के खिलाफ एक टीका विकसित करने की कोशिश कर रहे हैं। हालांकि निमोनिया के टीके नए कोरोना-वाइरस के खिलाफ प्रभावी नहीं हैं, लेकिन साँस-संबंधी बीमारियों के खिलाफ टीकाकरण आपके स्वास्थ्य की रक्षा के लिए अत्यधिक ज़रूरी है।

 

प्रश्न: क्या नियमित रूप से खारा-पानी के साथ अपनी नाक को धोने से नए कोरोना-वायरस से संक्रमण को रोकने में मदद मिल सकती है?

नहीं, इसका कोई प्रमाण नहीं है कि नियमित रूप से खारा पानी के साथ नाक को रगड़ने या धोने से नए कोरोना-वायरस से संक्रमण से बचा जा सकता है। कुछ सीमित प्रमाण हैं कि नियमित रूप से खारा पानी के साथ नाक को रगड़ने या धोने से लोगों को सामान्य सर्दी से जल्दी ठीक होने में मदद मिल सकती है। हालांकि, नियमित रूप से नाक को धोने से साँस-सम्बन्धी संक्रमण को रोकने का कोई प्रमाण नहीं हैं।

 

प्रश्न: क्या एंटीबायोटिक्स नए कोरोना-वायरस को रोकने और इलाज में प्रभावी हैं?

नहीं, एंटीबायोटिक्स केवल बैक्टीरीआ के ख़िलाफ़ काम करते हैं, यह वायरस के खिलाफ काम नहीं करते हैं। नया कोरोना-वायरस (COVID-19) एक वायरस है और इसलिए एंटीबायोटिक्स को रोकथाम या उपचार के साधन के रूप में उपयोग नहीं किया जाना चाहिए।

हालांकि, अगर आपको COVID-19 के लिए अस्पताल में भर्ती किया जाता है, तो आपको एंटीबायोटिक्स दिए जा सकते हैं क्योंकि बैक्टीरिया का संक्रमण साथ में संभव है।

 

प्रश्न: क्या नए कोरोना-वायरस को रोकने या उसका इलाज करने के लिए कोई विशिष्ट दवाइयाँ हैं?

आज की तारिक तक, नए कोरोना-वायरस (COVID-19) को रोकने या इलाज के लिए कोई विशिष्ट दवा नहीं बतायी गई है। हालांकि, वायरस से संक्रमित लोगों को लक्षणों से राहत और उपचार के लिए उचित देखभाल दी जानी चाहिए, और गंभीर बीमारी वाले लोगों को अधिक सहायक देखभाल दी जानी चाहिए।

कुछ विशिष्ट उपचारों की प्रारम्भिक परीक्षण चल रहे हैं। विश्वस्वास्थ्य संगठन और कई देश इस वायरस की दवाई के अनुसंधान और विकास के प्रयासों में तेजी लाने की कोशिश कर रहें हैं।

 

प्रश्न: क्या लहसुन खाने से नए कोरोना-वायरस से संक्रमण को रोकने में मदद मिल सकती है?

लहसुन एक स्वस्थ भोजन है जिसमें कुछ रोगाणुरोधी गुण हो सकते हैं। हालांकि, वर्तमान वायरस-प्रकोप में कोई प्रमाण नहीं है कि लहसुन खाने से लोगों को नए कोरोना-वायरस से बचाया गया हो।

प्रश्न: क्या नए कोरोना-वायरस को मारने में हैंड-ड्रायर्स प्रभावी हैं?

नोट: हैंड-ड्रायर्स हाथ धोने के बाद गरम हवा से हाथ सुखाने की मशीन को कहते है।

नहीं, COVID-19 कोरोना-वायरस को मारने में हैंड ड्रायर्स प्रभावी नहीं हैं। नए कोरोना-वायरस से खुद को बचाने के लिए, आपको अक्सर अपने हाथों को साबुन और पानी से धोना चाहिए या फिर अल्कोहल-आधारित हैंड-सेनिटायजेर से रगड़ कर साफ करना चाहिए। एक बार जब आपके हाथ साफ हो जाते हैं, तो आपको कागज़ के तौलिये या गर्म हवा के ड्रायर का उपयोग करके उन्हें अच्छी तरह से सुखाना चाहिए।

 

प्रश्न: क्या यूवी (UV –पराबैंगनी किरणे) डिसिन्फ़ेक्शन लैंप नए कोरोना-वायरस को मार सकता है?

यूवी डिसिन्फ़ेक्शन लैंप का उपयोग हाथों या शरीर के अन्य क्षेत्रों की त्वचा के कीटाणु को मारने के लिए नहीं किया जाना चाहिए। यूवी (पराबैंगनी) किरण त्वचा की जलन पैदा कर सकता है।

इस पोस्ट के सारे जानकारी चित्रों को आप डाउनलोड और शेयर कर सकते हैं। 

DOWNLOAD: सारे जानकारी चित्रों को एक साथ डाउनलोड करने के लिए यहाँ क्लिक करे।

 

पृष्ठभूमि में कोरोना-वायरस का चित्रण सीडीसी 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *